ये हैं वकालत करने वालों के लिए भारत में टॉप करियर ऑप्शन 

Career In BA LLB -   बैचलर ऑफ आर्ट्स + बैचलर ऑफ लॉ (BA + LLB) छात्रों के लिए बेहतरीन करियर विकल्प है, जिसमें 12वीं के बाद किसी भी स्ट्रीम के छात्र नामांकन करवा सकते हैं। यह 5 साल का एक इंटीग्रेटेड कोर्स होता है।

वकालत (Litigation Lawyer) - BA LLB पूरा करने के बाद, छात्र देश में किसी भी अदालत में लॉ की प्रैक्टिस कर सकते हैं। इस पेशे को आगे बढ़ाने के इच्छुक उम्मीदवार को भारत में किसी भी स्टेट बार काउंसिल में अपना नामांकन कराना होता है। जिसके बाद वो अखिल भारतीय बार परीक्षा में शामिल हो सकते हैं। परीक्षा पास करने वाले सभी उम्मीदवार भारत में कहीं भी, लॉ की प्रैक्टिस कर सकते हैं।

कॉर्पोरेट नौकरी (Join the Corporate Industries) - कॉर्पोरेट क्षेत्रों में बैंकों और वित्तीय सेवा विभाग, वित्त और लेखा विभाग, मानव संसाधन विभाग, सप्लाई चेन मैनेजमेंट (SCM), पर्यटन उद्योग, इनवेस्टमेंट बैंकिंग, ई-कॉमर्स उद्योग जैसे फर्म के साथ ही प्रतिष्ठित लॉ फर्म में भी आप शामिल होते हैं।

न्यायाधीश (Judge) - न्यायधीश होना भारत की सबसे ज्यादा सम्मानित नौकरियों में से एक है। इसके लिए उम्मीदवारों को न्यायपालिका परीक्षा में शामिल होना होता है। परीक्षा पास करने के साथ ही उच्च न्यायालय में बतौर वकील 7 से 10 साल के अनुभव के बाद आप जज के पोस्ट के लिए आवेदन कर सकते हैं।

कानूनी सलाहकार (Legal Advisor)  एक कानूनी सलाहकार का काम एक बड़े निगम या एक संगठन के साथ ही एक ग्राहक को कानूनी सलाह देना है एक कानूनी सलाहकार बनने के लिए, उम्मीदवार को बार काउंसिल ऑफ इंडिया द्वारा जारी 'सर्टिफिकेट ऑफ प्रैक्टिस' के साथ एक योग्य वकील होना चाहिए। और उस क्षेत्र विषय में कुछ अनुभव भी जरुरी होता है, जिसमें वह कानूनी सलाह देता है।

कंपनी सचिव (Company Secretary) -  कंपनी सचिवों या कंपनी सेक्रेटरी (CS) को कंपनी चलाने के अहम पहलुओं के साथ-साथ कानूनी मामलों की अच्छी समझ होनी चाहिए। उम्मीदवारों को सीएस में एक सर्टिफिकेट कोर्स करना होता है। जिसकी पढ़ाई केवल इंडियन कंपनी सेक्रेटरी इंस्टीट्यूट (ICSI) करवाता है। Career In BA LLB - बैचलर ऑफ आर्ट्स + बैचलर ऑफ लॉ (BA + LLB) छात्रों के लिए बेहतरीन करियर विकल्प है, जिसमें 12वीं के बाद किसी भी स्ट्रीम के छात्र नामांकन करवा सकते हैं। यह 5 साल का एक इंटीग्रेटेड कोर्स होता है।

लॉ पोस्ट ग्रेजुएशन (LLM) - उच्च शिक्षा लेने के लिए, तो LML करना एक अच्छा विकल्प है, जिसे लॉ के स्टूडेंट्स आमतौर पर चुनते हैं। शिक्षा क्षेत्र में करियर बनाने के इच्छुक उम्मीदवारो को लॉ मे पोस्ट ग्रेजुएशन करना होता है। जिसके बाद, उम्मीदवार उसी के लिए UGC-NET या किसी भी राज्य CET परीक्षा में शामिल हो सकते हैं।

बिजनेस मैनेजमेंट में मास्टर्स  (MBA) - एमबीए लॉ बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन में मास्टर डिग्री है। जिसमें लॉ पर विशेष ध्यान दिया जाता है। कॉर्पोरेट फील्ड में लॉ और मैनेजमेंट वाले लोगों की ज्यादा डिमांड होती है। क्योंकि ये एक अच्छा और कम पाया जाने वाला कॉम्बिनेशन होता है |

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