अगस्त 2010 में वैज्ञानिकों ने पूर्वी अंटार्कटिक बर्फ की चादर पर एक जगह माइनस 92.3 डिग्री सेल्सियस तापमान दर्ज किया और इसे दुनिया की की सबसे ठंडी जगह घोषित किया. इससे पहले साल 1983 से Vostok स्टेशन को सबसे ठंडा जगह माना जाता था. डोम फूजी का तापमान कभी भी माइनस 30 डिग्री से ज्यादा नहीं होता है.
धरती पर सबसे ठंडी जगहों में से एक वोस्तोक रिसर्च स्टेशन है. यहां धूप भी सबसे ज्यादा होती है. वोस्तोक रिसर्च स्टेशन पर दिसंबर मे 22 घंटे से अधिक धूप मिलती है. जुलाई 1983 में यहां का तापमान माइनस 89.2 डिग्री सेल्सियस किया गया था.
अंटार्कटिका के अमुंडसेन-स्कॉट साउथ पोल स्टेशन पर काम करने वाले वैज्ञानिक साल में सिर्फ एक बार सूर्योदय और सूर्यास्त देख पाते हैं. जून 1982 में यहां का तापमान माइनस 82.8 डिग्री सेल्सियस है. यहां स्थापित स्टेशन समंदर से 3000 मीटर ऊपर है.
जुलाई 2005 में अंटार्कटिक पठार में डोम आर्गस पर माइनस 682.5 डिग्री सेल्सियस तापमान दर्ज किया गया था. डोम आर्गस डोम फूजी के पास ही स्थित है पास की रिज धरती पर सबसे ठंडी नेचुरल कंडीशन का घर है. साल 2018 में कोलोराडो विश्वविद्यालय की एक टीम ने पूर्व अंटार्कटिका में उन क्षेत्रों की पहचान के लिए इन्फ्रारेड मैपिंग तकनीक का इस्तेमाल किया था.
उत्तरी अमेरिका के अलास्का में समंदर तकल से 6 हजार मीटर से अधिक ऊंचई पर एक शानदार दृश्य है. साल 2003 में शिखर के करीब एक मौसम स्टेशन स्थापित किया गया, जहां सबसे ठंडा तापमान माइनस 73.8 डिग्री सेल्सियम दर्ज किया गया. कभी माउंट मैककिनले के तौर पर जाना जाता था.
रूस के इस शहर की आबादी एक हजार है. ये शहर आर्कटिक सर्कल के भीतर है. फरवरी 1892 में माइनस 69.8 डिग्री सेल्सियम तापमान दर्ज किया गया था.यहां उत्तरी गोलार्ध का सबसे ठंडा तापमान दर्ज किया गया है. यहां का यूनिक क्लाइमेट साइबेरियन हाई कही जाने वाली ठंडी घनी हवा से बना है.
ग्रीनलैंड दुनिया का सबसे कम आबादी वाला द्वीप है. यहां की ज्यादातर जमीन बर्फ से ढकी होती है. इतने दुर्गम क्लाइमेट में मौसम स्टेशन में काम करना कठिन है. इन स्टेशनों ने उत्तरी गोलार्ध में एक्सट्रीम कंडीशंस को रिकॉर्ड किया है. क्लिंक रिसर्च स्टेशन बर्फ की चादर के सबसे ऊपरी प्वाइंट पर है. दिसंबर 1991 में यहां का तापमान माइनस 69.4 डिग्री सेल्सियस है.
रूस के ओम्यकॉन में साल 1933 में तापमान माइनस 67.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था. इसे दुनिया की सबसे ठंडी बस्ती के तौर पर माना गया. यहां एक हजार से कम की आबादी दो घाटियों के बीच में बसती है. दो घाटियों के बीच हालात को ठंडी हवाएं और भी खतरनाक बना देती हैं.