स्टैटिस्टिक्स गणित की शाखा है, जिसमें एक विशेष नियम के अनुसार डाटा कलेक्शन और क्लासिफिकेशन के बाद उसका आंकलन और प्रदर्शन किया जाता है।
समय के साथ मार्केटिंग, इकोनॉमिक्स, बायोलॉजी, पब्लिक हेल्थ, स्पोर्ट्स, मेडिसिन सहित कई अन्य क्षेत्रों में इसका इस्तेमाल बढ़ रहा है।
सामयिक, भरोसेमंद और विश्वसनीय आंकड़े बदलती दुनिया के प्रति हमारी बेहतर समझ विकसित करने में अहम भूमिका निभा सकते हैं।
आंकड़ों के बिना कोई भी सर्वे कर पाना संभव नहीं है. इसलिए बजट बनाने या आर्थिक सर्वेक्षण में हमेशा सांख्यिकीविद अहम भूमिका निभाते हैं।
विभिन्न क्षेत्रों में रिसर्च के लिए सांख्यिकी डाटा जरूरी है। उपलब्ध डाटा के आधार पर ही नीति निर्माता पॉलिसी बनाते हैं और किसी भी योजना की कमियों का आंकलन कर उसमें सुधार करते हैं।
Statistics कोर्स - इस कोर्स के दौरान उम्मीदवारों को स्टैटिस्टिकल रीजनिंग, मैथ्स, डाटा हैंडलिंग और रिसर्च से संबंधित बेसिक कॉन्सेप्ट सिखाया जाता है।
Statistics कोर्स के लिए योग्यता - इस कोर्स में एडमिशन के लिए उम्मीदवार का गणित या सांख्यिकी के साथ 12वीं पास होना जरूरी है।
Statistics कोर्स के बाद - कोर्स के बाद आप नीति आयोग, इंस्टीट्यूट ऑफ एप्लाइड मैनपावर रिसर्च, इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च, सोशल-इकोनॉमिक सर्वे से जुडे़ फील्ड में नौकरी का मौका मिलता है।